देवीपाटन मंडल कमिश्नर पुलिस उपमहानिरीक्षक साथ भोर में अचौक निरीक्षण

0
390

गोंडा नगर में हुए विशेष निरीक्षण के दौरान प्रशासन ने शहर की स्वच्छता और सुरक्षा व्यवस्था में सुधार के लिए कई ठोस कदम उठाने का संदेश दिया। डीएम, कमिश्नर, और डीआईजी के नेतृत्व में हुए इस निरीक्षण ने नगर के नागरिकों को जागरूक करने के साथ-साथ प्रशासन की सक्रियता को भी उजागर किया। निरीक्षण में विभिन्न मुद्दों पर ध्यान केंद्रित किया गया, जिनमें कूड़ा जलाने की समस्या, स्वच्छता अभियान, स्वास्थ्य सेवाएं, और सुरक्षा व्यवस्था शामिल थे।

कूड़ा जलाने पर सख्ती

निरीक्षण के दौरान डीएम ने नगर के विभिन्न स्थानों पर कूड़ा जलाने की घटनाओं पर कड़ी आपत्ति जताई। उन्होंने इसे पर्यावरण और स्वच्छता के लिए हानिकारक बताया और नगर पालिका से यह सुनिश्चित करने का निर्देश दिया कि कूड़ा समय पर उठाया जाए। उन्होंने स्थानीय नागरिकों से भी अपील की कि वे स्वच्छता बनाए रखने में प्रशासन का सहयोग करें और कूड़ा प्रबंधन के नियमों का पालन करें। डीएम ने यह भी कहा कि अगर कूड़ा समय पर उठाया जाएगा तो नागरिक इसे जलाने या फेंकने के बजाय जिम्मेदारी से निपटेंगे।

 

स्वच्छता अभियान और नागरिकों की भागीदारी

स्वच्छता अभियान को लेकर डीएम ने साफ कहा कि यह केवल प्रशासन की जिम्मेदारी नहीं है, बल्कि नागरिकों की सक्रिय भागीदारी भी अनिवार्य है। निरीक्षण के दौरान उन इलाकों का दौरा किया गया, जहां नगर पालिका की ओर से सफाई में लापरवाही पाई गई। उन्होंने मौके पर ही संबंधित अधिकारियों को चेतावनी दी और उनकी कार्यप्रणाली में सुधार लाने के निर्देश दिए। इस दौरान डीएम ने नागरिकों से संवाद करते हुए उन्हें स्वच्छता बनाए रखने के महत्व को समझाया और इसके लिए प्रशासन के साथ मिलकर काम करने का आह्वान किया।

पुलिस पुलिस उपमहानिरीक्षक ,मंडला आयुक्त, पुलिस अधीक्षक की भोर गश्त

पुलिस अधीक्षक विनीत जायसवाल ने भी इस निरीक्षण में भाग लिया और नगर क्षेत्र में भोर गश्त की। इस दौरान उन्होंने पुलिस पिकेट और चौकियों का निरीक्षण किया और वहां तैनात कर्मियों से संवाद किया। पुलिस अधीक्षक ने सुरक्षा व्यवस्था की स्थिति पर विचार करते हुए पुलिसकर्मियों को सतर्कता बनाए रखने की हिदायत दी। उन्होंने गश्त के दौरान संदिग्ध व्यक्तियों और गतिविधियों पर नजर रखने का निर्देश दिया और कहा कि किसी भी अप्रिय स्थिति से निपटने के लिए पुलिस को तत्पर रहना चाहिए। इसके साथ ही, पुलिस अधीक्षक ने आम जनता से भी संवाद किया और उनकी समस्याओं को सुना, साथ ही उन्हें आश्वस्त किया कि पुलिस उनकी सुरक्षा के लिए सदैव तत्पर है।

स्वास्थ्य सेवाओं में सुधार की आवश्यकता

स्वच्छता और सुरक्षा के अलावा, निरीक्षण में नगर की स्वास्थ्य सेवाओं पर भी ध्यान केंद्रित किया गया। कमिश्नर शशि भूषण लाल और डीआईजी अमित पाठक ने नगर के प्रमुख इलाकों और मेडिकल कॉलेज का निरीक्षण किया। इस दौरान मेडिकल कॉलेज की इमरजेंसी में गंदगी और कर्मचारियों की अनुपस्थिति पर कमिश्नर ने गहरी नाराजगी जताई। उन्होंने अस्पताल प्रशासन को तुरंत व्यवस्था सुधारने के सख्त निर्देश दिए। कमिश्नर ने कहा कि मरीजों की सुरक्षा और देखभाल में किसी भी प्रकार की लापरवाही बर्दाश्त नहीं की जाएगी। इस निरीक्षण ने साफ किया कि स्वास्थ्य सेवाओं में सुधार के लिए कड़ी निगरानी और प्रशासनिक सक्रियता की आवश्यकता है।

सुरक्षा व्यवस्था की समीक्षा

डीआईजी अमित पाठक ने नगर की सुरक्षा व्यवस्था की भी समीक्षा की। उन्होंने पुलिस बल की उपस्थिति और उनकी तैयारियों का निरीक्षण किया। डीआईजी ने कहा कि सुरक्षा में किसी भी प्रकार की ढिलाई से गंभीर परिणाम हो सकते हैं, इसलिए पुलिसकर्मियों को हर समय सतर्क रहना चाहिए। निरीक्षण के दौरान उन्होंने यह भी सुनिश्चित किया कि रात्रि गश्त को प्राथमिकता दी जाए। उन्होंने पुलिस अधिकारियों को निर्देश दिए कि वे नागरिकों के साथ सकारात्मक संवाद स्थापित करें और उनकी समस्याओं का समाधान करें। इस कदम से यह स्पष्ट हुआ कि सुरक्षा में सुधार के लिए निरंतर निगरानी और सक्रियता आवश्यक है।

स्थानीय नागरिकों से संवाद

निरीक्षण के दौरान कमिश्नर और डीआईजी ने स्थानीय नागरिकों से भी बातचीत की। उन्होंने नागरिकों से कहा कि प्रशासन उनकी समस्याओं के समाधान के लिए प्रतिबद्ध है, लेकिन इसमें नागरिकों का सहयोग भी उतना ही महत्वपूर्ण है। अधिकारियों ने नागरिकों को यह समझाया कि वे अपनी जिम्मेदारियों को समझें और प्रशासन के साथ मिलकर नगर की सुरक्षा और स्वच्छता में भागीदार बनें।

निष्कर्ष

गोंडा में हुए इस विशेष निरीक्षण ने न केवल नगर की स्वच्छता और सुरक्षा में सुधार के लिए ठोस कदम उठाने की दिशा में दिशा-निर्देश दिए, बल्कि यह भी साबित किया कि यदि प्रशासनिक अधिकारी सक्रिय और प्रतिबद्ध हों, तो किसी भी समस्या का समाधान किया जा सकता है। निरीक्षण के दौरान उठाए गए कदमों से गोंडा के नागरिकों में स्वच्छता और सुरक्षा के प्रति जागरूकता बढ़ी है, और उन्हें यह एहसास हुआ है कि प्रशासन के साथ मिलकर वे अपने शहर को बेहतर बना सकते हैं।

यह निरीक्षण अन्य जिलों के लिए भी एक प्रेरणा बन सकता है, क्योंकि यह साबित करता है कि प्रशासन की सक्रियता से कैसे व्यवस्था में सुधार लाया जा सकता है। गोंडा के नागरिकों को अब उम्मीद है कि इन कदमों के कारण नगर के विकास में एक सकारात्मक बदलाव आएगा।

LEAVE A REPLY

Please enter your comment!
Please enter your name here