*(03 मार्च 2024) का पंचांग*-
*मास-* फाल्गुन मास।
*पक्ष*- कृष्ण पक्ष।
*तिथि*- अष्टमी (देररात्रि 03:39 तक, तत्पश्चात् नवमी)।
*नक्षत्र*- अनुराधा (सुबह 11:17 तक तत्पश्चात् ज्येष्ठा)।
*राहूकाल*- दोपहर 04:36 से सायं 06:03 तक। (इस काल में कोई भी शुभ कार्य का आरंभ नहीं किया जाता है)
*अग्नि वास*- स्वर्ग में (हवन करना अशुभ कारक है)।
*होमाहुति*- गुरु।
*योग*- हर्षण (दोपहर 01:04 बजे तक, तत्पश्चात् वज्र)।
*श्रीसंवत्*- 2080
*संवत्सर*- पिंगल।
*दिशाशूल*- पश्चिम में (यात्रा जरूरी हो तो पान खाकर जाएं)
*वार-* रविवार।
*अयन-* उत्तरायण।
*अभिजित शुभ मुहूर्त*- सुबह 11:50 से दोपहर 12:37 तक।
शुक्र पूरब में हैं।
*अमृत काल*- …………..।
*पंचक*- नहीं है।
*भद्रा*- …………………।
*सर्वार्थसिद्धि योग*- ………..।
*मूल(सत्तइसा*- सुबह 11:17 से 05 मार्च, मंगलवार को सुबह 11:09 तक।
*मूल का वास*- पाताल में।
*राहूवास*- उत्तर में।
*चंद्रवास*- उत्तर में।
*सूर्योदय*- सुबह 06:20 पर।
*सूर्यास्त*- सायं 05:59 पर होगा।
*शिववास*- गौरी के साथ (सुखप्रद)।
*व्रत एवं त्योहार*- सीताष्टमी ।
*(आचार्य पंकज कृष्ण शास्त्री जी*)
*भागवत कथा प्रवक्ता*
*अयोध्या धाम*
9792366298/9918701008