शव को पोस्टमार्टम के लिए भेज छानबीन में जुटी पुलिस
गोंडा। तीन दिन पहले घर से गायब हुए युवक का शव शुक्रवार की देर शाम गांव के बाहर तालाब के किनारे लगे एक पेंड़ से लटकता पाया गया। शव पूरी तरह से सड़ा हुआ था और उसमें कीड़े बजबजा रहे थे। लापता युवक का शव मिलने से पूरे गांव में हडकंप मच गया। सूचना पर पहुंची पुलिस ने शव का पंचनामा कराने के बाद उसे पोस्टमार्टम के लिए भेजा है। परिजनों ने गांव के ही एक परिवार पर युवक की हत्या कर शव पेड़ से लटकाए जाने का आरोप लगाया है। हैरत की बात यह है कि जिस युवक का शव मिला है उसके खिलाफ शव मिलने के चार घंटे पहले ही छेड़खानी का मुकदमा दर्ज किया गया था।
मोतीगंज थाना क्षेत्र के बेलावां गांव के मजरे मिश्रनपुरवा का रहने वाला महेश मिश्रा उर्फ रिंकू(24) 23 अगस्त को अपने घर से अचानक लापता हो गया था। परिजन उसकी तलाश में जुटे थे। युवक के गायब होने की सूचना पुलिस को भी दी गई थी लेकिन पुलिस ने गुमशुदगी की रिपोर्ट नहीं लिखी। शुक्रवार की देर शाम करीब आठ बजे लापता युवक का शव गांव के बाहर स्थित कुड़वा तालाब के किनारे लगे पेड़ से लटकता मिला। सूचना पर पहुंची पुलिस ने शव को पेंड़ से नीचे उतारा। शव पूरी तरह से सड़ चुका था और उसमें कीड़े बजबजा रहे थे। युवक की पहचान महेश उर्फ रिंकू के रूप में हुई। रिंकू की मौत की सूचना उसके घरवालों को मिली तो परिजनों में कोहराम मच गया। शव मिलने की सूचना पर बड़ी संख्या में गांव के लोग जमा हो गए। वहीं पुलिस रिंकू के शव को देखकर अवाक रह गई। क्योंकि कुछ घंटे पहले ही पुलिस ने मृतक रिंकू व उसके चाचा चाची के खिलाफ गांव की ही एक लड़की के साथ छेड़खानी करने की रिपोर्ट दर्ज की थी। फिलहाल पुलिस ने पंचनामा कराने के बाद शव को पोस्टमार्टम के लिए भेजा है। थानाध्यक्ष प्रबोध कुमार का कहना है शव को पोस्टमार्टम के लिए भेजा गया है। रिपोर्ट मिलने पर स्थिति साफ हो सकेगी। गुमशुदगी न दर्ज करने के सवाल पर उन्होने कहा कि उन्हे इस संबंध मे कोई सूचना नहीं मिली थी। इनसेट कहीं सोची समझी साजिश के तहत तो नहीं दर्ज कराई गई एफआईआर गोंडा। तीन दिन से लापता रिंकू का शव मिलने के महज चार घंटे पहले उसके खिलाफ दर्ज की गई छेड़खानी की रिपोर्ट ने इस मामले को उलझा दिया है। रिंकू के परिजनों के मुताबिक 23 अगस्त को गांव के ही एक परिवार से मामूली बात को लेकर कहासुनी हुई थी। लेकिन यह कोई बहुत बड़ा विवाद नहीं था। इसलिए दोनों पक्ष थाने नहीं गए। इसी बीच रिंकू अचानक घर से लापता हो गया। सारी रात रिंकू की तलाश करने के बाद परिजन 24 अगस्त को गुमशुदगी की रिपोर्ट लिखाने थाने गए तो दरोगा ने रिपोर्ट दर्ज करने के बजाय उन्हे यह कहकर टरका दिया कि कहीं गया होगा वापस लौट आयेगा। इसी बीच 26 अगस्त यानि शुक्रवार को उसी परिवार ने थाने पर पहुंचकर रिंकू के खिलाफ छेड़खानी की तहरीर दे दी। तहरीर में कहा गया कि उसके बहन से छेड़खानी करता है। 23 अगस्त को रिंकू ने रास्ते में उसकी बहन को जबरन रोक लिया और उसका अश्लील फोटो बना लिया। आरोप लगाया कि इस कार्य में रिंकू के चाचा चाची ने भी उसकी मदद की। पुलिस ने छात्रा के भाई की तहरीर पर बगैर किसी जांच पड़ताल के आनन फानन में रिंकू व उसके चाचा चाची के खिलाफ छेडखानी व आईटी एक्ट की धाराओं में मुकदमा पंजीकृत कर लिया। जिस समय मुकदमा लिखा गया उस समय शाम के चार बजे थे। यह समय एफआईआर कापी पर दर्ज है। रिपोर्ट लिखने के महज चार घंटे बाद ही रिंकू का शव पेड़ से लटकता मिला। शव बुरी तरह से सड़ा हुआ था। इस पूरे घटनाक्रम ने रिंकू की मौत पर सवाल खड़ा कर दिया है। इस मामले में पुलिस की लापरवाही से इंकार नहीं किया जा सकता।
वारदात के बाद गांव में तनाव, पुलिस फोर्स तैनात गोंडा। मोतीगंज थाना क्षेत्र का बेलावां गांव इस थाने का सबसे संवेदनशील गांव माना जाता है। गांव में इस वारदात के बाद सन्नाटा पसरा है। दोनों पक्षों के बीच तनाव की स्थिति को देखते हुए गांव में पुलिस फोर्स तैनात कर दी गई है। क्षेत्राधिकारी सदर विनय कुमार सिंह का कहना है कि ऐतिहात के तौर पर गांव में पुलिस फोर्स लगाई गई है।
सवाल जिनके जवाब मांग रहे परिजन -23 अगस्त को रिंकू व गांव के एक अन्य परिवार के बीच मामूली कहासुनी हुई। यदि उस वक्त छेड़खानी की बात थी तो फिर उसी दिन एफआईआर क्यों नहीं दर्ज कराई गई? -23 अगस्त को ही रिंकू घर से गायब हो गया। परिजनों ने अगले दिन पुलिस को सूचना दी।सूचना मिलने पर पुलिस ने एफआईआर क्यों नहीं लिखी? -तीन दिन बाद 26 अगस्त को दूसरा पक्ष छेड़खानी की तहरीर लेकर थाने पर पहुंचा तो पुलिस ने इस मामले की जांच क्यों नहीं की? -अमूमन घटनाओं की एफआईआर से पहले जांच कराने वाली पुलिस ने इस मामले में आनन फानन में एफआईआर क्यों दर्ज कर ली? -तीन दिन से लापता रिंकू की लाश एफआईआर दर्ज करने के महज चार घंटे के भीतर कैसे मिल गई? -रिंकू का शव गांव के बाहर तालाब के किनारे पेंड़ से लटका था। जब उसे उतारा गया तो वह बुरी तरह से सड़ चुका था। सीओ के मुताबिक शव दो दिन पुराना था। अब सवाल यह है कि अगर रिंकू ने दो दिन पहले ही आत्महत्या की तो दिन के उजाले में उसका शव किसी को क्यों नहीं दिखा? -एफआईआर दर्ज होने के चार घंटे बाद भादों की काली रात में आखिर रिंकू का शव कैसे दिख गया?
रिंकू पर गांव की एक छात्रा के साथ छेड़खानी करने व उसका अश्लील फोटो वायरल करने का आरोप था। इसी बात को लेकर 23 अगस्त को रिंकू व पीड़ित के परिवार के बीच विवाद हुआ था। इस पर रिंकू के पिता ने उसे फटकार लगाई थी। पिता की फटकार से नाराज रिंकू घर से चला गया था। 26 अगस्त यानि शुक्रवार की देर शाम करीब आठ बजे रिंकू का शव गांव के बाहर स्थित एक तालाब के किनारे लगे पेड़ से लटकता मिला। शव को कब्जे में लेकर पोस्टमार्टम के लिए भेजा गया है। इसी दिन पीडित परिवार ने भी रिंकू व उसके चाचा चाची के खिलाफ छेड़खानी की रिपोर्ट दर्ज कराई है। पुलिस सभी पहलुओं पर गहनता से छानबीन कर रही है। जो भी सच्चाई सामने आयेगी उसरे मुताबिक कार्रवाई की जायेगी।